मुख्यमंत्री ने गोरखपुर में 1498 करोड़ रु0 लागत की 146 विकास परियोजनाओं का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया

विकास और विरासत का अद्भुत समन्वय स्थापित करते हुए नया भारत 140 करोड़ भारतवासियों के जीवन में परिवर्तन करने के लिए प्रतिबद्ध

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जनपद गोरखपुर में 1498 करोड़ रुपये लागत की 146 विकास परियोजनाओं का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया। उन्होंने विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं के लाभार्थियों को टूलकिट, प्रतीकात्मक चेक व चाभी, प्रमाण पत्र, लैपटॉप तथा 05 आंगनबाड़ी कार्यकर्त्रियों को नियुक्ति पत्र प्रदान किया। उन्होंने बच्चों का अन्नप्राशन तथा महिलाओं की गोदभराई की। विभिन्न विभागों द्वारा लगायी गयी प्रदर्शनी का अवलोकन भी किया।

इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि विकास का कोई विकल्प नहीं होता। जो लोग विकास नहीं कर सकते वे लोग जाति, मत, पंथ, मजहब, क्षेत्र और भाषा के आधार पर सामाजिकता के ताने-बाने को छिन्न भिन्न कर सकते हैं। वर्ष 2017 के पहले का प्रदेश और वर्ष 2014 के पहले का भारत भ्रष्टाचार के आतंक में डूबा हुआ था। विश्वास का वातावरण नहीं था, नौजवान भटक रहा था, नक्सलवाद और आतंकवाद देश की सुरक्षा को चुनौती दे रहा था। विगत 10 वर्षों में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में हम एक नया भारत देख रहे हैं।


मुख्यमंत्री ने कहा कि आज का भारत विकास के नित नये प्रतिमान स्थापित कर रहा है। आज के भारत ने आतंकवाद व नक्सलवाद को पूरी तरह समाप्त करने के संकल्प के साथ जो कार्य प्रारम्भ किया, वह सफलता की नई ऊंचाइयों तक पहुंच कर दुनिया के सामने मॉडल बना है। विकास और विरासत का अद्भुत समन्वय स्थापित करते हुए नया भारत 140 करोड़ भारतवासियों के जीवन में परिवर्तन करने के लिए प्रतिबद्ध है। प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व एवं मार्गदर्शन में नये भारत का नया उत्तर प्रदेश और नये उत्तर प्रदेश का नया गोरखपुर दुनिया के सामने है। नये उत्तर प्रदेश में अन्नदाता किसानों का सम्मान है। नारी गरिमा तथा व्यापारियों की सुरक्षा व नौजवानों के रोजगार की गारण्टी भी नये उत्तर प्रदेश में है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि विगत 08 वर्षों के इस विकास यात्रा को आपने बदलते हुए परिवेश में देखा है। नौजवानों को मिलने वाली नौकरियों, बेटियों और बहनों को मिलने वाली सुरक्षा तथा अन्नदाता किसानों के जीवन में होने वाले परिवर्तन को देखा है। वर्ष 2017 से पहले गोरखपुर में विद्युत आपूर्ति कम होती थी। शहर में 05 घण्टे और ग्रामीण क्षेत्रों में सप्ताह में रोटेशन में विद्युत आपूर्ति होती थी। आज 24 घण्टे विद्युत आपूर्ति हो रही है। पहले गोरखपुर से बड़हलगंज पहुंचने में 03 घण्टे लगते थे। आज मात्र 45 मिनट में बड़हलगंज से गोरखपुर आ सकते हैं। पहले भटहट से गोरखपुर आने में 01 घण्टा लगता था। आज भटहट से गोरखपुर के लिए 4-लेन सड़क बन गई है। भटहट में आयुष विश्वविद्यालय बन रहा है। यह परिवर्तन एक सकारात्मक सोच के कारण ही हो पाया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि पहले यहां स्वास्थ्य सुविधाओं का अभाव था। लोगों को इंसेफेलाइटिस, मलेरिया, डेंगू जैसी अनेक बीमारियों का सामना करना पड़ता था। गोरखपुर के नौजवानों के सामने पहचान का संकट था। नौजवान पलायन को मजबूर था। पूर्वी उत्तर प्रदेश में मुसहर जनजाति भुखमरी का शिकार होती थी। बुन्देलखण्ड में किसान आत्महत्या करने के लिए मजबूर था। बेटी व बहन घर से बाहर निकलने तथा व्यापारी व्यापार करने में असुरक्षा महसूस करता था। आज उत्तर प्रदेश माफिया, गुण्डा, दंगा मुक्त हो गया है। ‘एक जनपद-एक उत्पाद’, ‘एक जनपद-एक मेडिकल कॉलेज’ पर कार्य कर रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2017 से पहले भूमि के लिए गोरखपुर विकास प्राधिकरण और किसानों के मध्य संघर्ष होता था। हमने उनकी समस्याओं का समाधान किया। आज गरीबों के लिए मकान बन रहे हैं। फर्टिलाइजर कारखाना, सैनिक स्कूल, पिपराइच की चीनी मिल पुनः प्रारम्भ हो गई है। गोरखपुर में सड़कों का नया जाल बिछ चुका है। लखनऊ, वाराणसी, नेपाल, कुशीनगर और देवरिया को 4-लेन की कनेक्टविटी के साथ जोड़ा गया है। आज गोरखपुर एयर कनेक्टिविटी के साथ जुड़ चुका है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज जिन विकास परियोजनाओं का लोकार्पण एवं शिलान्यास हो रहा है, यह परियोजनाएं गोरखपुर की सभी 09 विधानसभाओं के लिए हैं। पहले कोई सोचता था कि गोरखपुर में फर्टिलाइजर कारखाना फिर से प्रारम्भ होगा। गोरखपुर में एम्स आएगा, गोरखपुर से 14-14 फ्लाइटें चलेंगी। बी0आर0डी0 मेडिकल कॉलेज में सुपर स्पेशियलिटी ब्लॉक बनेगा, आयुष विश्वविद्यालय बनेगा। पिपराइच की चीनी मिल, बड़हलगंज में होम्योपैथिक कॉलेज चल पाएगा। कोई सोचता था कि गीडा में उद्योग आएंगे। गोरखपुर में पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे का लिंक एक्सप्रेस-वे आएगा, लेकिन आज यह सब हकीकत है। पहले कोई सोचता भी नहीं था कि रामगढ़ताल झील का रूप लेगा, आज यह हकीकत में एक विश्वस्तरीय झील है। यह झील गोरखपुर, पूर्वी उत्तर प्रदेश, नेपाल तथा बिहार के लोगों के लिए पयर्टन के आकर्षण का केन्द्र बनी है।


मुख्यमंत्री ने कहा कि जब एक सकारात्मक सोच बनती है, तभी विकास आगे बढ़ता है। आज गोरखपुर का विकास देखकर लोग आश्चर्यचकित हो जाते हैं कि यह वही गोरखपुर है, जो पहले था। आज कोई भी वाराणसी, प्रयागराज, लखनऊ, अयोध्या, मेरठ, ग्रेटर नोएडा, गाजियाबाद, आगरा सहारनपुर तथा अन्य तमाम जनपदों में जाता है तो कहता है कि विकास हुआ है। आज उत्तर प्रदेश नई पहचान बना रहा है। बेटियां बिना भय के स्कूल जा रही हैं, नौजवान स्थानीय स्तर पर रोजगार प्राप्त कर रहा है, यही परिवर्तन है। आज नये उत्तर प्रदेश में बिना भेदभाव के सभी को योजनाओं का लाभ प्राप्त हो रहा है। नये उत्तर प्रदेश में स्थानीय हस्तशिल्पियों को आगे बढ़ाने के लिए एक जनपद-एक उत्पाद योजना, विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना, पी0एम0 विश्वकर्मा योजना सुचारू ढंग से संचालित हो रही हैं। स्ट्रीट वेण्डरों के लिए भी एक नई योजना आयी है। स्वामित्व योजना के अंतर्गत घरौनी वितरित की जा रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि नये उत्तर प्रदेश में कोई भूखा नहीं मर सकता। आज प्रदेश में 15 करोड़ लोगों को निःशुल्क राशन की सुविधा का लाभ मिल रहा है। कुछ ही दिनों में जीरो पॉवर्टी के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए डबल इंजन सरकार एक नए कार्यक्रम को लेकर आ रही है। हर ग्राम पंचायत में ऐसे परिवार, जो किसी कारणवश शासकीय योजनाओं से वंचित रह गये हैं, उनका सर्वे कराया गया है। उन सभी को अपने-अपने जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति में योजनाओं से आच्छादित करने का कार्य प्रदेश सरकार कर रही है। जिसके पास मकान नहीं है, उनको पक्का मकान मिलेगा। जिनके पास आयुष्मान कार्ड नहीं है, उन्हें आयुष्मान कार्ड प्राप्त होगा। जिनके पास राशन कार्ड नहीं है, उन्हें राशन कार्ड मिलेगा। जिन पात्र व्यक्तियों को पेंशन का लाभ नहीं मिल पा रहा है, उन्हें पेंशन का लाभ मिलेगा। जिनके पास रोजगार नहीं है, उन्हें स्थानीय स्तर पर रोजगार उपलब्ध कराने का प्रयास डबल इंजन सरकार कर रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जो परियोजनाएं बन चुकी हैं, उनमें प्रदेश की 25 करोड़ जनता का पैसा लगा है। उस पैसे का दुरुपयोग नहीं होने दिया जायेगा। जिस कार्य के लिए जितना पैसा स्वीकृत है, वह पैसा उसी कार्य के लिए खर्च हो, यह हमारा प्रयास होना चाहिए। हम उन्हें उसी प्रकार की व्यवस्था के साथ जोड़ें। जिन परियोजनाओं के शिलान्यास के साथ हम आगे बढ़ रहे हैं, उसकी क्वालिटी ठीक हो, यह स्थानीय जनप्रतिनिधियों को भी देखना चाहिए। सम्बन्धित कार्यदायी संस्था की भी निगरानी होनी चाहिए। कार्य गुणवत्तापूर्ण व समयबद्ध ढंग से हो, तभी लम्बे समय तक इन योजनाओं का लाभ जनता-जनार्दन को प्राप्त होता रहेगा।
इस अवसर पर सांसद श्री रवि किशन शुक्ल ने भी कार्यक्रम को सम्बोधित किया।

ज्ञातव्य है कि लोकार्पित होने वाली परियोजनाओं में बांसगांव में कौड़ीपुर-गजपुर मार्ग का चौड़ीकरण एवं सुदृढ़ीकरण, रामगढ़ताल परियोजना के आंतरिक मार्ग का 4-लेन चौड़ीकरण एवं सुदृढ़ीकरण, बांसगांव में 50 बेड का संयुक्त चिकित्सालय भवन, गोरखपुर सीवरेज योजना जोन-सी-2 (प्रथम चरण),  भोलाराम मस्करा इण्टर कॉलेज में ग्रामीण स्टेडियम, कैम्पियरगंज मुख्य चौराहे से मोदीगंज तक आर0सी0सी0 नाला, स्पर्श राजकीय दृष्टिबाधित बालक इण्टर कॉलेज में नवीन भवन, छात्रावास एवं आवास, वीर बहादुर सिंह स्पोर्ट्स कॉलेज स्थित एस्ट्रोटर्फ हॉकी मैदान पर पवेलियन, बी0आर0डी0 मेडिकल कॉलेज में स्टोर रूम, नगर पंचायत घघसरा, पीपीगंज एवं उरुवा बाजार में कार्यालय भवन शामिल है।

इसी प्रकार शिलान्यास होने वाली प्रमुख परियोजनाओं में कलेक्ट्रेट भवन, भजन संध्या स्थल, भीटी-बांसगांव-गोला मार्ग के चैनेज 25.200 से चैनेज 41.330 के मध्य 2-लेन चौड़ीकरण एवं सुदृढ़ीकरण, जगतबेला-डोमिनगढ़ रेलखण्ड के कि0मी0 509/8-9 पर रहमतनगर-माधवपुर मार्ग पर रेल उपरिगामी सेतु, बैरियाखास में राप्ती पर दीर्घ सेतु, पहुंच मार्ग एवं सुरक्षात्मक कार्य, नेताजी सुभाष चन्द्र बोस जिला अस्पताल का विस्तारीकरण, राजकीय मेडिकल कॉलेज में ट्रॉमा सेण्टर का उच्चीकरण, 100 बेड तक क्षमता विस्तार, राजकीय पॉलिटेक्निक में अवस्थापना सुविधाओं का विकास, बढ़या मार्ग पर बी0एस0एन0एल0 टावर से गोड़वारी पुल पंचगांवा मोड़ तक नाला, कैम्पियरगंज एवं खजनी तहसील में आवासीय भवन, राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज में छात्रावास शामिल है।

इस अवसर पर अन्य जनप्रतिनिधिगण सहित शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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